मांगने वाला हमेशा छोटा ही होता है राजेश्री महन्त जी जांजगीर एवं चाम्पा में आयोजित श्रीमद् भागवत महापुराण में शामिल हुए महन्त जी महाराज

जांजगीर चाम्पा ।संसार में मांगने वाला व्यक्ति हमेशा छोटा ही होता है देने वाला चाहे कोई भी क्यों ना हो वह बड़ा ही होता है यही संसार की रीत है, भगवान विष्णु ने राजा बलि से दान मांगते वक्त वामन अवतार धारण किया यह बातें महामंडलेश्वर राजेश्री महन्त रामसुन्दर दास जी महाराज जी ने श्रीमद् भागवत महापुराण में श्रोताओं को अपना आशीर्वचन प्रदान करते हुए अभिव्यक्त किया। उल्लेखनीय है कि राजेश्री महन्त जी महाराज अपने एकदिवसीय जांजगीर- चांपा जिला प्रवास के दौरान जांजगीर तथा चंपा में आयोजित भागवत महापुराण के कार्यक्रम में सम्मिलित हुए। सबसे पहले वे अपने निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार न्यू चंदनीयां पारा जांजगीर में पटेल परिवार में आयोजित कार्यक्रम में उपस्थित हुए। यहां ब्यास मंच पर विराजित पंडित राजकुमार मिश्रा जी महाराज ने गुरु वंदना गाकर महाराज जी का स्वागत किया, महाराज जी ने भी व्यास पीठ की पूजा अर्चना की ।यहां राजेश्री महन्त जी महाराज ने अपना आशीर्वचन प्रदान करते हुए श्रोताओं से कहा कि- आप सभी भाग्यशाली हैं भगवान की अमृतमयी कथा का रसपान आचार्य जी सभी को अपने श्री मुख से बड़े ही सुंदर और सरल शब्दों में सुना रहे हैं। आचार्य जी ने कृतज्ञता ज्ञापित करते हुए कहा कि- जिस कथा पंडाल में संत- महात्माओं का चरण रज पड़ जाता है वह कथा अपने आप में पूर्ण हो जाती है। महाराज जी ने यहां पहुंचकर हम सभी पर बड़ी कृपा की है। चांपा के कार्यक्रम में राजेश्री महन्त जी महाराज ने लोगों को अपना आशीर्वचन संदेश में कहा कि- व्यास पीठ पर विराजित उमाशंकर चतुर्वेदी जी महाराज ने हम सभी को भगवान विष्णु के वामन अवतार की कथा का रसपान कराया है। भगवान विष्णु जो इस संपूर्ण ब्रह्मांड के नायक हैं, जगत के पालनहार हैं वे भी जब राजा बलि के दरवाजे पर मांगने के लिए गए तो उन्हें वामन रूप धारण करना पड़ा। मांगने वाला हमेशा छोटा ही होता है। यहां कार्यक्रम का संचालन करते हुए श्री बनकर जी ने कहा कि- पूज्य गुरुदेव जी महाराज भगवान शिवरीनारायण के धाम से नारायण के स्वरूप में ही हम सब के बीच में पधार कर हम सभी को पुण्य के भागी बनाये हैं। हम सब उनके दर्शन मात्र से अपने आप को सौभाग्यशाली महसूस कर रहे हैं। इन दोनों ही कार्यक्रम में विशेष रूप से धर्माचार्य श्री अग्निसाक्षी जी महाराज तथा पी आई एल के महा प्रबंधक एके चतुर्वेदी ,पुरुषोत्तम शर्मा, कार्तिकेश्वर स्वर्णकार, पंडित हरिहर तिवारी, रामकिशोर शुक्ला, श्रीधर गौराहा,श्रीमती संगीता पांडे, योगेश चौधरी, विजय सलूजा, प्रोफेसर अश्वनी कुमार केसरवानी,शैलेश शर्मा, डॉ रमाकांत सोनी, शशि भूषण सोनी, डॉ विजया- अभिषेक, कुमुदिनी -रविंद्र द्विवेदी, ज्योति -सुनील बनकर, मीडिया प्रभारी निर्मल दास वैष्णव सहित अनेक गणमान्य जन उपस्थित थे।