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विश्व ग्लाकोमा सप्ताह 12 से 18 मार्च  

जांजगीर।कलेक्टर आकाश छिकारा के मार्गदर्शन में जांजगीर-चाम्पा जिला को मोतियाबिंद मुक्त करने के लिये विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। राष्ट्रीय अंधत्व नियंत्रण कार्यक्रम अंतर्गत जिले के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र में 12 से 18 मार्च 2024 तक ग्लाकोमा सप्ताह का आयोजन कर जन सामान्य को ग्लाकोमा आंखों की एक खतरनाक बीमारी है जिससे खोई दृष्टि वापस नहीं लाई जा सकती। इस बीमारी से बचने के लिये अपनी आंखों की जांच प्रतिवर्ष कराने के लिये जन जागरूकता स्वास्थ्य विभाग अमला द्वारा किया जावेगा।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. स्वाति वंदना सिसोदिया ने सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक, जिला चिकित्सालय जांजगीर तथा सभी खण्ड चिकित्सा अधिकारियों को 12 से 18 मार्च 2024 तक गाईडलाईन के तहत विश्व ग्लाकोमा सप्ताह मनाये जाने के लिये निर्देशित करते हुए बताया कि – उम्र बढ़ने, निकट दृष्टि दोष, आंख की शल्य चिकित्सा, आंख की ग्लाकोमा होने का मुख्य कारण होते है। नजर कमजोर होना, धुंधला दिखाई देना, आंखों और सिर में तेज दर्द होना, आंखे लाल होना, रोशनी के चारों ओर रंगीन छल्ले दिखना, जी मिचलाना, उल्टी होना आदि ग्लाकोमा के प्रमुख लक्षण है। जीवन की बेहतर गुणवत्ता के लिये ग्लाकोमा का शीघ्र पता लगाना और समय पर उपचार कराना आवश्यक है।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी ने जिला नोडल अधिकारी डॉ. संदीप साहू श्री एस.के. चंदन सहायक जिला नोडल अधिकारी अंधत्व को विश्व ग्लाकोमा सप्ताह 12 से 18 मार्च 2023 तक किये जा रहे कार्यों का जिला स्तर से मॉनिटरिंग के लिये निर्देश दिये हैं।

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